




श्रीडूंगरगढ़ लाइव…18 मार्च 2023।कई बार अपने आसपास ऐसी घटनाएं हो जाती है जिन पर विश्वास करना भी मुश्किल हो जाता है। आजकल रिश्तों की अहमियत और दायित्व दोनों को ही दरकिनार कर दिया जाता हैं।ऐसी ही एक घटना बीकानेर के परिवार के साथ हो गयी।जब शादी के बाद विदाई में ससुराल पहुंचने से पहले ही दुल्हन ने ससुराल दूर होने के कारण जाने के लिए ही मना कर दिया।
घटना इस प्रकार है कि एक लड़की ने घरवालों की मर्जी से कोर्ट मैरिज और फिर अरेंज मैरिज की।पूरे रीति-रिवाज से दुल्हन बनकर दूल्हे संग विदा हुई।कार में सवार नई-नवेली दुल्हन ने करीब 400 किलोमीटर का सफर भी तय कर लिया लेकिन जब उसे पता चला कि ससुराल अभी भी 900 किलोमीटर और दूर है तो दिमाग घूम गया। उसने गाड़ी रुकने का इंतजार किया। बीच रास्ते मे जब चाय नाश्ते के लिए दूल्हा समेत उसके घरवाले उतरे तो दुल्हन पास खड़े पुलिसकर्मियों के पास जा पहुंची और रोते हुए अपनी शादी तोड़ने की जिद पर अड़ गई।इसके बाद पुलिस ने थाने से महिला पुलिसकर्मी बुलाकर दुल्हन को वापस मायके भेज दिया और उधर दूल्हा बेरंग लौट आया।
बनारस (उत्तर प्रदेश) की रहने वाली वैष्णवी की शादी बीकानेर (राजस्थान) के रवि से तय हुई थी।रवि अपनी बारात लेकर गुरुवार को बीकानेर से आया। ज्यादा खर्च न हो, इसलिए रवि और वैष्णवी की बनारस में कोर्ट मैरिज और फिर अरेंज मैरिज हुई। विदाई के बाद बनारस से 400 किलोमीटर का सफर करके लगभग 7 घंटे में दूल्हा-दुल्हन कानपुर के सरसौल इलाके तक पहुंच पाए।उन्हें कुल 1300 किमी के आसपास दूरी तय करनी थी।
चाय नाश्ते के लिये रवि और उसके रिश्तेदार जब कार से नीचे उतर गए तो उस समय वहां पर पुलिस की पीआरवी वैन 2729 भी खड़ी थी। कार में बैठी दुल्हन वैष्णवी अचानक पुलिस को देखकर जोर-जोर से रोने लगी।दुल्हन को रोता देखकर पीआरवी जवानों को शंका होने पर उन्होंने पूछताछ शुरू की।
पूछताछ में दुल्हन वैष्णवी ने आरोप लगा दिया कि ये लोग हमको शादी करके ला रहे हैं।इन्होंने पहले बताया था कि इलाहाबाद (प्रयागराज) में रहते हैं।लेकिन अब मुझे राजस्थान के बीकानेर लिए जा रहे हैं।मैं बनारस से आते-आते सात घंटे के सफर में थक गई हूं। मुझे अब इससे आगे नहीं जाना. मुझे ये शादी अभी तोड़नी है।मुझे इतनी दूर शादी नहीं करनी है।मैं अपनी मां के आसपास ही रहना चाहती हूं.
दुल्हन की पूरी कहानी सुनकर पुलिस सबको महराजपुर थाने ले आई।जहां थानेदार सतीश राठौर ने दूल्हे से बात की तो उसने शादी के कोर्ट मैरिज के कागज दिखाकर बताया कि हम बीकानेर के रहने वाले हैं।लड़कीवालों को सब जानकारी थी लेकिन अब वैष्णवी विदा होने के बाद बीच रास्ते में कह रही है कि मुझे उतनी दूर शादी करके नहीं जाना है। इसके बाद थानेदार सतीश ने बनारस में दुल्हन की मां से बात की।
कॉल पर वैष्णवी की मां ने बताया, मेरे पति नहीं हैं।एक रिश्तेदार ने बेटी की शादी तय कराई थी।हम लोगों को तो यही मालूम था कि दूल्हा इलाहाबाद में रहता है।अब मेरी बेटी अगर बीकानेर नहीं जाना चाहती तो न जाए।आप रास्ते से ही उसे वापिस बनारस भिजवा दीजिए।हम शादी तोड़ देंगे।
पुलिस द्वारा आपसी समझाईश के बाद भी नही मानने पर लड़की को महिला पुलिसकर्मी के साथ बनारस भेज दिया।उधर, दूल्हा सात जन्मों के सफर को सिर्फ सात घंटे का सफर मानकर ही बीकानेर के लिए रवाना हो गया।
दूल्हे रवि का कहना था कि लड़की और उसके घर में सबको मालूम था फिर भी उसने मना कर दिया।हमारा तो विवाह खर्च भी बहुत हो गया।
इस मामले में एसीपी अमरनाथ ने बताया कि दुल्हन को गाड़ी में रट देखकर पूछताछ करने पर बताया कि हमें रिश्ता तय करने वक्त बताया था कि ससुरालले इलाहाबाद में रहते हैं, लेकिन मुझे बीकानेर (राजस्थान) ले जाया जा रहा है। पुलिस ने लड़की की मां से बात की, तो उसने भी कहा लड़की नहीं जा रही तो कोई बात नहीं है। हमें यह शादी नहीं चाहते।इसके बाद आपसी समझौते के तहत लड़की को उसकी मां के पास बनारस भेज दिया गया और लड़का बीकानेर चला गया।बहरहाल, दूल्हा-दुल्हन के रिश्तों की जो गाड़ी सात जन्मों तक पहुंचनी थी, वह सात सौ किलोमीटर पर ही रुककर जुदा हो गई।
सोर्स:-न्यूज़










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